दुलाईवाली कहानी बंगमहिला जिनका सही नाम राजेंद्र बाला घोष था, द्वारा लिखी गई कहानी है. यह कहानी हिंदी की शुरुआती कहानियों में से है. इसका प्रकाशन सन् 1907 में सरस्वती पत्रिका में हुआ था. इस कहानी में नायक 'नवलकिशोर' के द्वारा अपने मित्र बंशीधर के साथ किए गए मजाक का रोचक वर्णन है.